विजयश्री रंगमच पर देर रात तक चला स्थानीय कवि सम्मेलन एवं मुशायरा

तेरी जब जुल्फ लहराई तो मैने गीत गाया है…

काला धन कहा से आता है कहा जाता है सब को पता है इसका नेताओं से नाता है..

सुन ले पाकिस्तान जिस दिन भारत आतंकी हो जाएगा उस दिन तू बच नहीं पाएंगा…

सरीखी पंक्तियो के साथ युवा कवियों ने मंच से आतंकवाद व सफेदपोष नेताओं पर जमकर निषाना साधा। देर रात तक दषहरा मैदान स्थित विजयश्री रंगमंच काव्य रचनाओं के साथ वीर रस के छंदों के बीच भारत माता की जय के उद्घोश से गूंजता रहा।

मौका था गुरूवार रात कोटा नगर निगम की ओर से दषहरा मेला 2016 के उपलक्ष में आयोजित स्थानीय कवि सम्मेलन एवं मुषायरे का। पहली बार बाह्य रंगमंच पर हुए इस कार्यक्रम में दर्षक दीर्घा में बड़ी
तादाद में श्रोता देर रात तक डटे नजर आए। कवयित्री एडवोकेट प्रतिभा दीक्षित ने दषहरा मेळा में बुलावा मां सरस्वतीण्ण्ण् वंदना  से कार्यक्रम की षुरूआत की। षायर अब्दुल अलीम ने एक थाली में खाए सारा हिंदूस्तान…सुनाई। बाल कवयित्री कविता सिकरवाल ने गणेष वंदना की। देर रात तक मंच से गजल का दर्द हूं में कविता की इबादत हूं..्तेरी जब जुल्फ लहराई तो मेने गीत गाया है…आदि रचनाओं की प्रस्तुतियों के बीच दर्षक दीर्घा तालियों की करतल ध्वनि से गूंजता रहा। मेला अधिकारी व निगम आयुक्त राजेंद्र सिंह चरण ने बताया अतिथि विधायक हीरालाल नागर निगम आयुक्त शिववप्रसाद एम नकाते महापौर महेश विजय पूर्व उप महापौर योगेंद्र खींची जयवीर सिंह, मेला अध्यक्ष राममोहन मित्रा बाबला,उपायुक्त राजेश डागा, अशोक  त्यागी, राजेंद्र सिंह चारण, पार्षद महेश गौतम लल्ली, नरेंद्र हाड़ा, भगवान स्वरूप गौतम, रमेश चतुर्वेदी, प्रकाश सेनी ,मीनाक्षी खंडेलवाल, मोनू कुमारी आदि ने विधिवत कार्यक्रम का षुभारंभ किया। बाल कलाकारों ने भी मंच से वीर रस की रचनाएं पेष की। कवि बृजेष षर्मा रेखा पंचोली कोमल भारती दिव्यांष पोटर मासूम हर्ष मिश्रा रजा बारानवीए मंयक सोलंकी आदि ने देर रात काव्य पाठ
किया। मंव पर देर रात तक कवियों के शब्द बाण चले।

कार्यक्रम संयोजक पार्शद मीनाक्षी खंडेलवाल ने बताया कि षाम तक कवियों की फाइनल सूची 63 की रहीं। लेकिन देर रात तक मंच पर करीब 40 कवि ही आए। कार्यक्रम का संचालन विरेंद्र सिंह विद्यार्थी ने किया।
महापौर ने किया काव्य पाठ

स्थानीय कवि सम्मेलन में मंच से महापौर महेष विजय ने भी काव्य पाठ किया। महापौर ने थके मन से कोई काम नहीं होता….्कविता हंसी देती है कविता खुषी देती है ्कविता जगाती है देशप्रेम को….रचना सुनाकर जमकर तालिया बटोरी।

– मीडिया पॉइंट,  कमल सिंह यदुवंशी






कविताओं से दिया सामाजिक सुधार का संदेश

दशहरा मेला के विजयश्री रंगमंच पर गुरुवार को स्थानीय कवि सम्मेलन, मुशायरा आयोजित किया गया। यहां रात करीब साढ़े आठ बजे कार्यक्रम शुरू हुए कार्यक्रम में पांच दर्जन से अधिक कवि, शायरों ने शिरकत की। इससे मंच पूरी तरह भरा हुआ नजर आया। यहां किसी ने देशभक्ति कविताएं सुनाई तो किसी ने शेर-शायरी सुनाकर वाहवाही लूटी। कवयत्रियों ने शृंगार रस की कविताएं सुनाकर वाहवाही लूटी। अधिकांश कवियों ने देशभक्ति कविताएं सुनाई।

 इन्होंने जमकर लूटी वाहवाही 

कवि सम्मेलन में बाल कवि अंतिम, अनिलकांत, आशीष से लेकर 60 वर्ष आयु पार तक के राजन साहू, अब्दुल अमीन, जीएस भारती, हलीम रेहाना, दीपक वर्मा, रामेश्वर खरे, कोमल भारती, अनामिका सिकरवार, मुराद अहमद, शब्बीर अहमद, ओम गर्ग, आत्माराम, हेमंत गुप्ता, रामस्वरूप मेधावी, हमीद हेरा आदि कवि-शायरों ने काव्यपाठ किया। बाल कवियों ने दहेज प्रथा बंद करने, बेटी बचाओ आदि सामाजिक सुधार को लेकर काव्यपाठ किया। कवि सम्मेलन, मुशायरे का दौर देर रात तक चला।

News Source : Rajasthan Patrika